बांग्लादेशियों को बसाने वाला और एक विशाल झील चंदोला लेक को कब्जा करके उसके किनारे झोपड़पट्टी बनाकर 500 से ज्यादा बांग्लादेशियों को बसाने वाले लल्ला बिहारी और उसके बेटे को पुलिस हथकड़ी लगाकर इस चंदोला झील के उसके साम्राज्य में लेकर गई जहां वह कभी दरबार लगता था..
सोचिए बिहार से अहमदाबाद महबूब पठान उर्फ लल्ला बिहारी मजदूरी करने आता है. मजदूरी करते-करते वह बांग्लादेशियों को बसाने के नेटवर्क में शामिल हो जाता है और बहुत बड़ा प्राकृतिक चंदोला तलाव को बांग्लादेशियों का अड्डा बनाता है..
तालाब को मिट्टी से भर भर के झोपड़पट्टी का निर्माण करता है और बांग्लादेशियों को उसमें बसाता है उनसे भाड़ा वसूलता है..
देखते ही देखते वह करोड़पति बन गया तालाब की जमीन पर उसने 5 एकड़ में अपना विशाल फार्म हाउस बना लिया..
इसकी अतिरिक्त अहमदाबाद में ही उसने पांच बंगले भी बनवा लिए..
और जो बांग्लादेशी लड़की उसे खूबसूरत नजर आती थी उससे निकाह कर लेता था. और इस तरह उसने पांच बांग्लादेशी लड़कियों से निकाह किया और उन पाचो के लिए अलग-अलग मकान बनाया..
इसके अलावा कोई भी बांग्लादेशी लड़की उसे पसंद आ जाती थी तब वह जब चाहे तब फार्म हाउस पर बुलाता था..
आधार कार्ड और राशन कार्ड बनवाने के एवज में वह ₹50000 वसूलता था. 200 से ज्यादा उसने ऑटो रिक्शा रखा था जो बांग्लादेशियों से भाड़े पर चलवाता था. उसके अलावा उसने और भी कई कारोबार में बांग्लादेशियों के सहारे किया.
1000 बांग्ला देसी जो बुजुर्ग थे या जो विकलांग थे उनको उसने भीख मांगने के काम पर लगाया जिसमें हर रोज उन भिखारी को लाला बिहारी को ₹500 देने होते थे..
इसके अलावा इसने वहां एक बहुत विशाल अवैध पार्किंग बना दिया था और आसपास की तमाम सोसाइटी में पार्किंग की सुविधा नहीं थी जहां वह अलग-अलग व्हीकल से ₹500 से लेकर ₹20 तक प्रतिदिन वसूलता था..
इन बांग्लादेश्यों से बिजली और पानी के लिए अतिरिक्त पैसे वसूलता था..
यह लल्ला बिहारी बांग्लादेशीयो से प्रति महीने 5 करोड रुपए से ज्यादा कमाता था..
अब लल्ला बिहारी के पूरे साम्राज्य पर बुलडोजर चल गया है सब कुछ समतल हो गया है..
यह फरार हो गया था अपने एक कंस्ट्रक्शन साइट पर काम करने वाले मजदूर के घर बांसवाड़ा में छुपा था जहां से यह बिहार होते हुए बांग्लादेश भागने की फिराक में था लेकिन इसे राजस्थान से ही दबोच लिया गया..
सभी बांग्लादेशियों को बांग्लादेश डीपोर्ट करने की प्रक्रिया शुरू हो गई है करीब ढाई सौ बांग्लादेशियों को डीपोर्ट कर दिया गया है बाकी के कागजात जांच किए जा रहे हैं..
गुजरात सरकार काकरिया लेक की तर्ज पर चंदोला लेक को भी डेवलप करने जा रही है नर्मदा का पानी इसमें छोड़ा जा रहा है उसके अलावा लगभग 8 एकड़ जमीन जो बांग्लादेशियों से खाली कराई गई है उसे बीएसएफ को दिया जा रहा है कैबिनेट में प्रस्ताव पास हो गया है यहां पर बीएसएफ के जवानों के लिए क्वार्टर्स बनेंगे..
यह सब काम करने का पूरा श्रेय गुजरात के गृह मंत्री हर्ष भाई संघवी और मुख्यमंत्री भूपेंद्र भाई पटेल को जाता है... और डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी राष्ट्रीय विचार मंच गुजरात के कार्यकताओं को जाता है यह जानकारी आज विज्ञप्ति जारी कर राहुल गोयल राष्ट्रीय महामंत्री डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी राष्ट्रीय विचार मंच नई दिल्ली ने दी
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